यूनिफार्म सिविल कोड (uniform civil code) : परिचय
नई सरकार बनते ही फिर से समान नागरिक संहिता यानि कि यूनिफार्म सिविल कोड (uniform civil code) की मांग जोर पकड़ने लग गई की यूनिफार्म सिविल कोड नवगठित सरकार के लिए यक्ष प्रश्न लेकर भी आया है|
क्युकी यह सरकार पूर्ण बहुमत के साथ आई है और चुनाव प्रचार के दौरान भी यूनिफार्म सिविल कोड (uniform civil code) की बात नेताओ के भाषण में सुनी जा सकती थी तो आइये जानते है कि क्या है यूनिफार्म सिविल कोड और इसके बारे में कुछ महत्वपूर्ण तथ्य ……
क्या है यूनिफार्म सिविल कोड (uniform civil code)?
यूनिफार्म सिविल कोड नियमों का एक सेट है, जिसका अर्थ इसके नाम से ही समझ में आता है. इसका अर्थ है कि देश भर के सभी नागरिकों को, चाहे वह किसी भी धर्म अथवा समुदाय का हो, सबके लिए एक जैसा ही क़ानून रहेगा. इसके अन्तर्गत देश के विभिन्न धर्मों में आने वाले धर्म सम्बंधित नियम आ जाते है|
यह एक तरह का धर्म अथवा पंथ निरपेक्ष क़ानून है, जिस पर किसी धर्म विशेष का प्रभाव नहीं होता है. यूनिफार्म सिविल कोड सभी तरह के धर्म सम्बंधित पर्सनल लॉ को समाप्त करता है.
हालाँकि इस कोड का भारतीय संविधान के मौलिक अधिकार तथा सेकुलरिज्म में एक बड़ी भूमिका होने के बावजूद भी यह सन 1985 में शाहबानो केस के साथ विवादों के घेरे में आ गया. किन्तु यह एक ऐसा क़ानून है जो किसी देश में रहने वाले सभी धर्म और जातिगत सम्बंधित कानूनों से ऊपर होता है |
संविधान निर्माण करते वक़्त बुद्धिजीवियों ने सोचा कि हर धर्म के भारतीय नागरिकों के लिए एक ही सिविल कानून रहना चाहिए. जिसके अंदर विवाह , संपत्ति-विरासत का उत्तराधिकार , दत्तक ग्रहण से सबंधित सभी मसलो के लिए पुरे देश में सभी नागरिको के लिए एक ही कानून हो |
यूनिफार्म सिविल कोड लागू करने का अर्थ यह है कि शादी, तलाक और जमीन जायदाद के उत्तराधिकार के विषय में सभी धर्मों के लिए एक ही कानून लागू होगा। फिलहाल हर धर्म के लोग इन मामलों का निपटारा अपने-अपने पर्सनल लॉ के तहत करते हैं।
यूनिफार्म सिविल कोड का ज़िक्र भारतीय संविधान में कहा है ?
कब उठी थी यूनिफार्म सिविल कोड की पहली मांग?
क्या है यूनिफार्म सिविल कोड की विशेषताएं ?
- यूनिफार्म सिविल कोड सामाजिक परिवर्तन का एक बहुत बड़ा और महत्वपूर्ण अंश है जिसका उद्देश्य देश के सभी नागरिकों में समानता और एकरूपता स्थापित करना है |
- यह पूरी तरह से निष्पक्ष क़ानून है, जो कि पूरी तरह से धर्म निरपेक्ष है |
- तात्कालिक समय में विभिन्न धर्मों के नियम कानूनों की वजह से कई तरह के केस पर फैसला देने हुए न्यायपालिका पर इन धार्मिक नियमों का बोझ पड़ता है, अतः इस कोड के देश भर में लागू होने से न्यायपालिका को अपना काम और तेज़ी से करने का मौक़ा मिलेगा तथा एक लम्बे समय से अटके कई केस पर फैसला आ सकेगा.
- सभी धर्मों के लोगों के लिए एक तरह का क़ानून आने से देश की एकता और अखंडता को बढ़ावा मिलेगा |
- यह कानून देश की सामाजिक एकता और अखंडता के भी महत्वपूर्ण है |
किन देशों में पहले से लागू है यूनिफॉर्म सिविल कोड :
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